रविवार की रात जोरदार बारिश होने से शहर के कई बस्तियों में पानी भर गया। वार्ड क्रं. 02 हरिजन बस्ती में जो मकान के नाले के ऊपर बने हुए उनमें घरों में पानी घुस गया। दो दर्जन से अधिक ग्रामीणों को रेस्क्यू कर सुरक्षित बाहर निकाला। खातौली पुल पर 20 फीट पानी होने की वजह से लगातार पांचवे दिन भी श्योपुर-कोटा मार्ग बंद रहा।
By Paras Pandey
Edited By: Paras Pandey
Publish Date: Tue, 06 Aug 2024 03:47:36 PM (IST)
Updated Date: Tue, 06 Aug 2024 04:09:09 PM (IST)
HighLights
- रविवार की रात बारिश झमाझम बारिश होने से अमराल, सीप, चंबल, पार्वती नदियों का बढ़ा जलस्तर
- नदी में ऊफान से पांचवें दिन बंद रहा श्योपुर-कोटा मार्ग पर पानी आने से बारां मार्ग भी शाम तक रहा बंद
- सोमवार की शाम 6 बजे तक खातौली पुल पर चल रहा था 20 फीट पानी, इससे लोगों को परेशानी हुई
नईदुनिया प्रतिनिधि, श्योपुर। जिले में रात भर से हो रही झमाझम बारिश के कारण अमराल, सीप, चंबल, पार्वती नदियों का बढ़ा जलस्तर बढ़ गया है। पार्वती नदी उफान पर आने से खतरे के निशाल से 2 मीटर चल रही है, जिससे पार्वती नदी किनारे बस सूंडी गांव टापू बन गया। रविवार की सुबह एनडीआरएफ टीम गांव में पहुंची।
टीम ने दो दर्जन से अधिक ग्रामीणों को रेस्क्यू कर सुरक्षित बाहर निकाला। खातौली पुल पर 20 फीट पानी होने की वजह से लगातार पांचवे दिन भी श्योपुर-कोटा मार्ग बंद रहा, जिससे वाहनों की आवाजाही बंद रही। वहीं बड़ौदा के पास कुहांजापुर नदी की पुलिया पर पानी होने की वजह से बड़ौदा-बारां हाईवे भी बंद रहा। जिस वजह से बारां की तरफ से कोटा होकर जाने वाले वाहन भी नही जा सके।
बता दें कि, रविवार की शाम से झमाझम बारिश शुरू हो गई, जाे रातभर जारी बनी रही। रातभर हुई बारिश के कारण शहर की कई निचली बस्तियों में पानी भर गया। उधर बड़ौदा में पुलिस थाने से लेकल बागर के बीच हाईवे पर जल भराव की स्थिति देखी गई। इससे लोगों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। चंबल और पार्वती नदियों में जारी उफान की वजह से सुंड़ी और सांढ़ गांव टापू बन गए हैं।
पार्वती नदी से चारों ओर से घिरे सुंड़ी गांव में दोपहर तक नदी का पानी गया है, इसे देखते हुए सोमवार को एसडीआरएफ की टीम ने मोटर वोट की मदद से रेस्क्यू ऑपरेशन करना शुरू कर दिया है। दोपहर तक 65 ग्रामीणों को सुरक्षित रेस्क्यू कर बाहर निकाला गया।
बाकी ग्रामीणों को भी गांव से निकालने का प्रयास किया लेकिन कुछ लोग में ऊंचे स्थान पर बने मंदिर बैठ गए और उन्होंने निकलने से मना कर दिया। उधर प्रशास ने चंबल नदी से घिरे सांड गांव के ग्रामीण गांव से बाहर आने के लिए कहा लेकिन ग्रामीण आने को तैयार नहीं हुए।
हालांकी चंबल का पानी अभी गांव से काफी दूर है। हालांकि सोमवार की सुबह से बारिश बंद होने से और तेज धूप निकलने की वजह से लोगों ने राहत की सांस ली है। जिले में 5 अगस्त को जिले में 74.4 मिली मीटर औसत वर्षा दर्ज की गई है। इस वर्ष दिनांक 01 जून से अभी तक जिले में कुल 659.54 मिली मीटर औसत वर्षा दर्ज की गई है। जबकि पिछले साल इस दिन तक 463.64 मिली मीटर औसत वर्षा दर्ज की गई थी।
कोटा, बारां राजस्थान से कटा श्योपुर का संर्पक
श्योपुर के लोगों का सबसे ज्यादा आना-जाना कोटा, बारां, सवाईमाधोपुर ही रहता है। यहां लोग डाक्टर को दिखाने से लेकर खरीददारी करने के लिए कोटा या बारां जाते हैं। पांच दिना से खातौली पुल पर पानी होने की वजह से श्योपुर- कोटा हाईवे बंद हैं, ऐसी स्थिति में बस व निजी वाहनों से बारां होकर जा रहे थे, लेकिन सोमवार की सुबह बड़ौदा के पास से कुंहाजापुर नदी पर पानी होने की वजह से बड़ौदा-बारां हाईवे भी बंद हो गया। इसलिए श्योपुर का कोटा, बारां राजस्थान से पूरी तरह से संर्पक कट गया। हालांकी शाम को पानी उतरने के बाद बड़ौदा-बारां हाइवे तो चालू हो गया। शाम 6 बजे तक खातौली पुल पर 20 फीट पानी था जिसे देखते हुए संभावना जताई जा रही है मंगलवार को भी श्योपुर- कोटा मार्ग बंद रहेगा।
खातौली रोड पर रिलायंस पेट्रोल पंप के पास भरा पानी
इसके अलावा खातौली रोड पर रिलायंस पेट्रोल पंप के पीछे बने घरों तक पानी पहुंच गया। आम रास्ता ऐसे लग रहा था जैसे कोई नदी हो। स्थानीय लोगों ने इसकी सूचना ग्राम पंचायत सचिव और पटवारी को दी। सूचना मिलने के बाद पटवारी व सचिव ने मौके पर जाकर स्थिति देखी।
कहां कितनी हुई बारिश
श्योपुर में 106.2 मिमी
बडौदा में 91.0 मिमी
कराहल में 142 मिमी
विजयपुर में 24 मिमी
वीरपुर में 07 मिली
नदियों के जलस्तर की स्थिति
चंबल नदी का जलस्तर – 191.26 मीटर
चंबल का खतरे का निशान- 199.50 मीटर
पार्वती नदी का जलस्तर – 200.30 मीटर
पार्वती नदी का खतरे का निशान- 198.00 मीटर
आवदा डैम – 348.23
अपर ककेटो डैम 369.60 मीटर
रात को हुई झमाझम बारिश और पार्वती नदी के बढ़ते जलस्तर को देखते हुए पार्वती नदी किनारे बसे सूंडी गांव में अलर्ट जारी कर दिया था, वहां निरागनी के लिए टीमे तैनात कर दी गई थी। सुबह एसडीआरएफ की टीम द्वारा पार्वती नदी के बीच बसे सूंडी गांव में रेस्क्यू आपरेशन चलाकर 65 लोगों को सुरक्षित निकाला गया है। पार्वती नदी का जलस्तर खतरे के निशान से दो मीटर अधिक पहुंचने की स्थिति में देखते हुए ग्रामीणों को भी अभी गांव में नहीं जाने की हिदायत दी है। रेस्क्यू कर निकाले गए ग्रामीणों को अडवाड़ गांव बाढ़ राहत कैंप ठहराया गया है। – लोकेश कुमार जांगिड़, कलेक्टर, श्योपुर